नई दिल्ली/ लोकसभा चुनाव को अभी 2 साल बाकी है लेकिन भाजपा ने 2024 होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर अभी से तैयारियां शुरू कर दी है और इसको लेकर रणनीति बनाने के साथ ही सांसदों को कार्य विभाजन तथा चुनाव में आयोग की सीमा तय है कर दी गई है अब भाजपा सन 1955 के बाद जन्म लेने वाले पार्टी के नेताओं को ही सांसद का टिकट देगी टिकट वितरण और जिम्मेदारी के साथ कई निर्णय पार्टी ने लिए हैं ।
2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव में आज आप अपनी हैट्रिक बनाने और तीसरी पारी खेलने के लिए अभी से ही रणनीति बनाना प्रारंभ कर दिया है भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की अध्यक्षता में उनके आवास पर कुछ चुनिंदा कैबिनेट मंत्रियों पार्टी के प्रभारियों और सांसदों की एक बैठक आहूत की गई इस बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए।
बैठक में और पार्टी के उच्च स्तर पर इस बात को लेकर सहमति बनी है कि ऐसे मौजूदा सांसद जिनका जन्म 1955 के बाद वह है उन्हीं 2024 लोकसभा का टिकट दिया जाएगा इससे पहले जन्मे नेताओं को टिकट नहीं मिलेगा अर्थात 70 साल की आयु पार कर चुके नेताओं को टिकट नहीं दिया जाएगा केवल एक दो अपवाद ओं में ही इस नियम में छूट मिलेगी यह नियम लागू होता है तो भाजपा के मौजूदा 301 सांसदों में से 81 सांसदों के टिकट कट सकते हैं पार्टी का मानना है कि मैं लोगों को दी मौका मिलना चाहिए जब पुराने कार्यकर्ता नए लोगों को रास्ता देंगे बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि हर सांसद कोसो भूत और विधायकों को 25 ऐसे पूछ जहां पार्टी कमजोर है उनकी जिम्मेदारी दी जाएगी।
भाजपा ने देशभर में करीब 74000 से अधिक कमजोर भूतों का चयन किया है जा संगठन पूरी तरह से कमजोर है इन भूतों को मजबूत करने की जिम्मेदारी विधायक और सांसदों को दी गई है यहां पर विधायक और सांसद स्थानीय स्तर पर संघ की स्थानीय प्रचारकों के साथ संबंध में कर बूथ मजबूत करने का काम करेंगे।
17 वी लोकसभा में भाजपा के लगभग 25% सांसद 2024 के लोकसभा चुनाव तक 70 से अधिक उम्र पार कर जाएंगे 1955 से पहले जन्मे मौजूदा सांसदों में सबसे अधिक यूपी से 12 कर्नाटक से नो गुजरात से 10 महाराष्ट्र से 5 झारखंड से दो बिहार से छह मध्य प्रदेश से पांच और राजस्थान से पांच हैं।
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